दिल्ली के जल मंत्री प्रवेश वर्मा ने दावा किया कि छठ से पहले यमुना नदी साफ हो चुकी है। इस पर पलटवार करते हुए आम आदमी पार्टी ने कहा कि अगर यमुना का पानी साफ है तो दिल्ली सीएम को इसका पानी पीना चाहिए।

छठ पर्व के बीच दिल्ली में यमुना नदी के प्रदूषण का मुद्दा एक बार फिर गर्म है। सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी ने दावा किया है कि यमुना नदी साफ हो चुकी है। वहीं, आम आदमी पार्टी ने बीजेपी के दावों को खारिज करते हुए कहा कि अगर यमुना का पानी साफ है तो दिल्ली की मुख्यमंत्री को इसका पानी पीकर दिखाना चाहिए। दिल्ली के जल मंत्री प्रवेश वर्मा ने शनिवार को कहा कि छठ से पहले यमुना नदी के पानी की गुणवत्ता पिछले साल से बेहतर है। उन्होंने फीकल कोलीफॉर्म बैक्टीरिया के आंकड़ों का हवाला दिया।
दिल्ली सीएम पानी पीकर दिखाएं- आप
छठ पूजा से पहले सौरभ भारद्वाज ने कहा कि मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता को यमुना नदी का पानी पीकर यह साबित करना चाहिए कि यमुना साफ हो गई है। भारद्वाज ने कहा, “यमुना जी के पानी में सीवेज है और भाजपा सरकार के तहत दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति की रिपोर्ट से इसकी पुष्टि हुई है। पूर्वांचल समुदाय के लाखों लोग भाजपा नेताओं और मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के झूठ और धोखे का शिकार होंगे।” उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार ने सत्ता में रहते हुए यमुना को साफ करने की आप की योजनाओं में बाधा डाली थी और सत्तारूढ़ दल पर राजनीतिक लाभ के लिए झूठ का राज फैलाने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार ने यमुना जी की सफाई की योजना बनाई थी, लेकिन भाजपा के उपराज्यपाल ने इसमें हर तरह की बाधाएं खड़ी कर दीं। अगर रेखा गुप्ता दावा करती हैं कि नदी साफ है, तो उन्हें इसका पानी पीकर दिखाना चाहिए।”
कोलीफॉर्म बैक्टीरिया की मात्रा घटी
पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा के साथ एक संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में वर्मा ने विपक्षी आम आदमी पार्टी की आलोचना की, जिसके नेता छठ पर्व के दौरान यमुना प्रदूषण को लेकर भाजपा सरकार पर निशाना साध रहे हैं। वर्मा ने कहा कि दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) ने 9 अक्टूबर और 20 अक्टूबर को पल्ला, वजीराबाद बैराज, ओखला बैराज, आईटीओ और यमुना नहर सहित आठ स्थानों से यमुना के पानी के नमूने एकत्र किए। प्रवेश वर्मा ने कहा कि इस साल निजामुद्दीन में यमुना में फीकल कोलीफॉर्म बैक्टीरिया की सांद्रता घटकर 7,900 यूनिट प्रति 100 मिलीलीटर रह गई है, जबकि पिछले साल यह 11 लाख यूनिट प्रति 100 मिलीलीटर थी।
केजरीवाल सरकार पर प्रवेश वर्मा के आरोप
प्रवेश वर्मा के अनुसार, आईएसबीटी से एकत्र किए गए पानी के नमूनों में भी सुधार देखा गया है और इस साल बैक्टीरिया की संख्या 2024 में 28,000 से घटकर 8,000 रह गई है। उन्होंने बताया कि निज़ामुद्दीन में यह संख्या 11 लाख से घटकर 7,900, ओखला में 18 लाख से घटकर 2,700 और आगरा नहर में 22 लाख से घटकर 1,600 रह गई। उन्होंने आरोप लगाया, “आप के दिल्ली इकाई अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज समेत आप के नेता यमुना प्रदूषण का मुद्दा उठा रहे हैं, जबकि सच्चाई यह है कि आप सरकार के शासनकाल में इस पर डीपीसीसी की कोई रिपोर्ट प्रकाशित नहीं हुई।”
यमुना का पानी नहाने लायक भी नहीं- सौरभ भारद्वाज
एक्स पर एक पोस्ट में, आप के भारद्वाज ने 23 अक्टूबर की डीपीसीसी की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए दावा किया था कि यमुना का पानी “नहाने लायक भी नहीं है” और इसमें “खतरनाक मात्रा में मानव अपशिष्ट” मौजूद है। उन्होंने आगे आरोप लगाया कि हरियाणा सरकार ने एक हफ्ते के लिए पूर्वी यमुना नहर से पानी का रुख मोड़ दिया है, जिससे इस रुख के बंद होने के बाद प्रदूषण का स्तर और बिगड़ जाएगा। (इनपुट- पीटीआई)